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इकलौता भेड़िया अभ्यारण्य भारत में कहाँ है : Bharat Ka Eklauta Bhediya Abhyaranya Kaha Hai

इकलौता भेड़िया अभ्यारण्य भारत में कहाँ है : Bharat Ka Eklauta Bhediya Abhyaranya Kaha Hai, भारत का इकलौता भेड़िया अभ्यारण्य, जहाँ खुले में घूमते हैं सैकड़ो खूंखार भेड़िये. भेड़ियों का खूंखार और चालाक स्वभाव उसे जंगल का बड़ा और ख़तरनाक शिकारी जानवर बनाता है.

Bharat Ka Eklauta Bhediya Abhyaranya Kaha Hai
Bharat Ka Eklauta Bhediya Abhyaranya Kaha Hai

वर्तमान में आदमखोर भेड़िये के आतंक से उत्तर प्रदेश के बहराइच जिले में दहशत का माहौल है. वन विभाग के कर्मचारियों के अथक प्रयास से काफी मशक्कत के बाद भेड़ियों को पकड़ लिया गया है. आदमखोर भेड़ियों के आतंक से लगभग 35 से अधिक गावों के लोग आतंकित थे.

ऐसी घटनाओं से जुड़े सवाल प्रतियोगिता परीक्षाओं में भी पूछे जाते हैं. ऐसे में क्या आप जानते हैं कि भारत का इकलौता भेड़िया अभ्यारण्य कहाँ है? तो आइये भेड़िया अभ्यारण्य (Wolf Sanctuary) के बारे में जानते हैं.

खूंखार जानवर

चूँकि भेड़िया एक जंगली प्राणी है, यह चालाक और खूंखार स्वभाव के कारण जंगल का बड़ा और ख़तरनाक शिकारी जानवर के रूप में जाना जाता है. भेड़िया अपनी गहरी आँखों, मजबूत जबड़ों और मजबूत मांसपेशियों की मदद से शिकार करता है. अगर सामने कोई छोटा जीव या इंसान का बच्चा हो तो अकेला भेड़िया भी हमला कर सकता है.

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कहाँ है इकलौता भेड़िया अभ्यारण्य

अभ्यारण्य का मतलब, एक ऐसे वन क्षेत्र से होता है जहाँ जानवरों को बिना किसी डर के रहने की अनुमति दी जाती है. भारत में भेड़ियों के लिए भी एक अभ्यारण्य बनाया गया है. यह भेड़िया का इकलौता अभ्यारण्य झारखण्ड राज्य के लातेहार जिले में बनाया गया है.

इकलौते भेड़िया अभ्यारण्य का नाम क्या है?

झारखण्ड राज्य के लातेहार जिले के वन क्षेत्र महुआडाड़ में देश का इकलौता भेड़िया अभ्यारण्य है. इस सेंचुरी का नाम महुआडाड़ अभ्यारण्य है. यहाँ सैकड़ों की संख्या में भेड़िये रहते हैं.

कैमरे से निगरानी

महुआडाड़ भेड़िया अभ्यारण्य में अकेले 100 से अधिक भेड़िया है. भेड़िया अभ्यारण्य वाले क्षेत्र में कैमरा लगाये गए हैं. जंगलों में भेड़िये पर नजर रखने के लिए 25 कैमरे लगाये गये हैं. समय-समय पर इनकी गतिविधियों की जानकारी वन विभाग वालों को दी जाती है.

कब बना महुआडाड़ भेड़िया अभ्यारण्य?

महुआडाड़ भेड़िया अभ्यारण्य भारतीय भेड़ियों के संरक्षण के लिए 1976 में वन्य जीव अभ्यारण्य घोषित किया गया था. यह लगभग 63 वर्ग किलोमीटर में फैला हुआ है. पार्क में बड़ी संख्या में भेड़ियों की माँद है. साल 2004 में यहाँ 500 से अधिक भेड़िये थे.

ऑपरेशन भेड़िया क्या है?

यूपी के बहराइच में शुरू किया गया ‘ऑपरेशन भेड़िया’ क्या है?

पिछले 45 दिनों में हुए हमलों की श्रृंखला में, मेहसी तहसील के विभिन्न गांवों में भेड़ियों के झुंड ने छह बच्चों और एक महिला को मार डाला, जबकि लगभग 30 लोगों को घायल कर दिया.

उत्तर प्रदेश के बहराइच जिले में भेड़ियों के हमले से लोग दहशत में हैं. इस बीच राजपुर कलां गांव में जब एक भेड़िया देखा गया, तो लोगों ने शोर मचाया और टॉर्च दिखाई जिससे भेड़िया जंगल की ओर भाग गया. जिले में भेड़िये अब तक सात लोगों ककी जान ले चुके हैं और कई लोग घायल भी हो चुके हैं.

ऑपरेशन भेड़िया उत्तर प्रदेश के बहराइच जिले में भेड़ियों का आतंक को दर्शाता है. इन दिनों लोगों के लिए बड़ी मुश्किल बन गई है. बुधवार रात राजपुर कलां गांव में भी एक भेड़िया देखा गया, जिसने स्थानीय लोगों में खौफ़ पैदा कर दिया है. गाँव वालों ने भेड़ियों को देखा और उसे घेरने की कोशिश की, परन्तु आदमखोर भेड़िया लोगों की टार्च की प्रकाश को देखकर जंगल की तरफ भाग गया.

‘ऑपरेशन भेड़िया’ वर्तमान में चर्चा में है. उत्तर प्रदेश सरकार ने बहराइच जिले की मेहसी तहसील में घूम रहे भेड़ियों के झुंड को पकड़ने के लिए यह अभियान चलाया. भेड़ियों द्वारा अब तक सात लोगों की हत्या किए जाने के बाद जिले में दहशत का माहौल है.

स्थानीय अधिकारियों के अनुसार, पिछले डेढ़ महीने में बहराइच में जानवरों ने छह बच्चों और एक महिला को मार डाला है, तथा ताजा हमला सोमवार और मंगलवार की मध्य रात्रि को एक गांव में हुआ.

भेड़ियों को पकड़ने के लिए नवीनतम तकनीक का इस्तेमाल

वन विभाग भेड़ियों को पकड़ने के लिए ड्रोन कैमरों और थर्मल ड्रोन मैपिंग तकनीक का इस्तेमाल कर रहा था. अधिकारियों ने मुख्य वन्यजीव वार्डन से जानवरों को शांत करने की मंजूरी ले ली है.

गुरुवार को महासी क्षेत्र के कुलैला गांव में एक भेड़िया जाल में फंस गया. अधिकारियों द्वारा जारी बयान में कहा गया है कि अब तक चार भेड़ियों को पकड़ा गया है, हालांकि, क्षेत्र में भेड़ियों की कुल संख्या के बारे में अनिश्चितता है.

प्रधान मुख्य वन संरक्षक (वन्यजीव) संजय श्रीवास्तव ने बताया, “भेड़ियों को पकड़ने के लिए हमने 16 टीमें तैनात की हैं और 12 जिला स्तरीय अधिकारी भी यहां तैनात हैं. जब तक शेष भेड़ियों को पकड़ नहीं लिया जाता, तब तक अतिरिक्त प्रधान मुख्य वन संरक्षक रेणु सिंह मौके पर ही रहेंगी.”

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बहराइच डीएम ने क्या कहा?

बहराइच की जिला मजिस्ट्रेट मोनिका रानी ने कहा कि जिन घरों में दरवाजे नहीं हैं, वहां दरवाजे लगाए जा रहे हैं और सभी गांवों में रात्रि गश्त की जा रही है. उन्होंने कहा कि आशा कार्यकर्ताओं को लोगों में जागरूकता बढ़ाने का काम सौंपा गया है.

आधिकारिक बयान में कहा गया है कि उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ‘ऑपरेशन भेड़िया’ पर बारीकी से नजर रख रहे हैं, जबकि वन मंत्री अरुण सक्सेना ने बुधवार को जिले में प्रभावित परिवारों से मुलाकात की.

कई गांवों के दौरे के दौरान सक्सेना ने लोगों को आश्वस्त किया कि वन विभाग भेड़ियों को पकड़ने के लिए अथक प्रयास कर रहा है.

बयान में कहा गया, “जिला प्रशासन ने चार मृतकों के परिजनों को पांच-पांच लाख रुपये की अनुग्रह राशि प्रदान की है. शेष पीड़ितों के परिवारों को भुगतान जल्द ही कर दिया जाएगा.”

मंत्री ने आश्वासन दिया कि विभाग पूरी तरह सतर्क है और शेष तीन भेड़ियों को पकड़ने के लिए हर संभव प्रयास कर रहा है.

उन्होंने लोगों से रात में खुले में सोने से बचने, बच्चों को घर के अंदर रखने और अपने दरवाज़े सुरक्षित रूप से बंद रखने का आग्रह किया। उन्होंने लोगों से समूह में बाहर निकलने और सुरक्षा के लिए लाठी लेकर चलने की भी सलाह दी.

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